दीपावली हिन्दुओं का सबसे बड़ा
त्योहार है। इसके लिए हम ढेर सारे उत्साह के साथ कई तरह की तैयारियां करते
हैं। लेकिन त्योहार पर यह उत्साह बना रहे और सभी सुरक्षित रहें यही सबसे
बड़ी बात होती है। वैसे तो त्योहारों पर हम बहुत सी बातों का ध्यान रखते
हैं, लेकिन दीपावली पर आपको विशेष रूप से इस 10 बातों का ध्यान रखना है,
ताकि आपका उत्साह किसी तरह से भी कम न हो पाए।
1 खरीदारी - इस समय खरीदारी भी आप जमकर करते हैं। ऐसे में किसी एक ही स्थान से सारी चीजें खरीदने से पहले बाजार मूल्य का मुआयना कर लें। कई बार हमें बाजार में चीजों की वैराइटी और सही मूल्य पता नहीं होता जिससे हम अधिक पैसे खर्च करके भी उतनी अच्छी चीजें नहीं खरीद पाते। ऐसे समय में छोटे बाजारों का रुख करना बेहतर होता है। यहां पर आपको वैराइटी भी अधिक मिलती है, और आप मोल-भाव भी कर सकते हैं। त्योहार में होने वाले अत्यधिक खर्च पर आप ऐसे नियंत्रण कर सकते हैं।
2 जेबकतरी - त्योहार के समय बाजारों में बहुत भीड़ होती है। ऐसे समय खुले बाजारों में अगर आप पैदल शॉपिंग के लिए निकलने का सोच रहे हैं, तो जेबकतरों से विशेष रूप से सावधान रहिएगा। क्योंकि इस समय भीड़ में कौन, कब आपका पर्स उड़ा ले जाएगा, आप खुद भी नहीं समझ पाएंगे। कोशिश करें की अपने पर्स को पूरी सुरक्षा के साथ रखें।
3 खाना-पीना - त्योहारों का समय हो, तो पकवान बनने और बाजार से लाने का सिलसिला भी खूब चलता है। लेकिन इसमें भी आपको फूंक-फूंक कर कदम रखना होगा। अगर बाजार से मिठाइयां ला रहे हैं, तो मावे या दूध की मिठाई से परहेज ही करें, क्योंकि त्योहारी मौसम में इन चीजों में मिलावट अपने चरम पर होती है। घर पर मावे की मिठाई बनाते समय भी ध्यान रखें, अगर मावा मिलावटी हुआ तो आपको बीमार कर सकता है। हर साल दिवाली के समय इन कारणों से कई लोग बीमार पड़ते हैं।
4 स्वास्थ्य - नवरात्रि से लेकर दीपावली तक घर की साफ-सफाई सजावट और कई छोटी-मोटी चीजें आपके काम और बढ़ा देती है। ऐसे में शरीर पर काम का अतिरिक्त दबाव डालने से बचें। अपनी सेहत पर विशेष ध्यान दें और खान-पान भी सेहतमंद रखें। आप अगर स्वस्थ होंगे तभी त्योहार, उत्साह और उमंग के साथ त्योहार मना पाएंगे। काम के साथ आराम के लिए भी समय निकालने की कोशिश करें। घर पर कोई मरीज है, तो उनके लिए दवा तैयार रखें।
5 ध्वनि प्रदूषण - दिवाली पर और उसके पहले से ही हर तरफ पटाखों की गू्ंज सुनाई देती है और हर तरफ शोर होता है। दिवाली के पहले से शुरू होकर सप्ताह भर बाद तक पटाखों का दौर चलता है। लेकिन यह ध्वनि प्रदूषण है, जो आपके कान की संवेदनशीलता को तो प्रभावित करता ही है, साथ ही लगातार यह शोर आपको चिड़चिड़ा और मानसिक रोगी भी बना सकता है। यह सिरदर्द का कारण भी बनता है।
6 वायु प्रदूषण - साफ-सफाई और धुंए के कारण इन दिनों वायु प्रदूषण भी अपने चरम पर होता है, जो आपके स्वास्थ्य को सीधे प्रभावित करता है। आप अगर फेफड़ों या सांस संबंधी रोग के मरीज हैं, तो धूलकणों का संपर्क व पटाखों से होने वाला धुंआ आपके लिए बहुत ही घातक होता है। कोशिश करें कि इसे कम करने में आपकी सहभागिता हो। हर कोई अगर यह सोच लेकर चलेगा, तो वायु प्रदूषण में भी कमी आएगी।
http://hindi.webdunia.com/dipawali-special/be-careful-on-diwali-115101900030_1.html
1 खरीदारी - इस समय खरीदारी भी आप जमकर करते हैं। ऐसे में किसी एक ही स्थान से सारी चीजें खरीदने से पहले बाजार मूल्य का मुआयना कर लें। कई बार हमें बाजार में चीजों की वैराइटी और सही मूल्य पता नहीं होता जिससे हम अधिक पैसे खर्च करके भी उतनी अच्छी चीजें नहीं खरीद पाते। ऐसे समय में छोटे बाजारों का रुख करना बेहतर होता है। यहां पर आपको वैराइटी भी अधिक मिलती है, और आप मोल-भाव भी कर सकते हैं। त्योहार में होने वाले अत्यधिक खर्च पर आप ऐसे नियंत्रण कर सकते हैं।
2 जेबकतरी - त्योहार के समय बाजारों में बहुत भीड़ होती है। ऐसे समय खुले बाजारों में अगर आप पैदल शॉपिंग के लिए निकलने का सोच रहे हैं, तो जेबकतरों से विशेष रूप से सावधान रहिएगा। क्योंकि इस समय भीड़ में कौन, कब आपका पर्स उड़ा ले जाएगा, आप खुद भी नहीं समझ पाएंगे। कोशिश करें की अपने पर्स को पूरी सुरक्षा के साथ रखें।
3 खाना-पीना - त्योहारों का समय हो, तो पकवान बनने और बाजार से लाने का सिलसिला भी खूब चलता है। लेकिन इसमें भी आपको फूंक-फूंक कर कदम रखना होगा। अगर बाजार से मिठाइयां ला रहे हैं, तो मावे या दूध की मिठाई से परहेज ही करें, क्योंकि त्योहारी मौसम में इन चीजों में मिलावट अपने चरम पर होती है। घर पर मावे की मिठाई बनाते समय भी ध्यान रखें, अगर मावा मिलावटी हुआ तो आपको बीमार कर सकता है। हर साल दिवाली के समय इन कारणों से कई लोग बीमार पड़ते हैं।
4 स्वास्थ्य - नवरात्रि से लेकर दीपावली तक घर की साफ-सफाई सजावट और कई छोटी-मोटी चीजें आपके काम और बढ़ा देती है। ऐसे में शरीर पर काम का अतिरिक्त दबाव डालने से बचें। अपनी सेहत पर विशेष ध्यान दें और खान-पान भी सेहतमंद रखें। आप अगर स्वस्थ होंगे तभी त्योहार, उत्साह और उमंग के साथ त्योहार मना पाएंगे। काम के साथ आराम के लिए भी समय निकालने की कोशिश करें। घर पर कोई मरीज है, तो उनके लिए दवा तैयार रखें।
5 ध्वनि प्रदूषण - दिवाली पर और उसके पहले से ही हर तरफ पटाखों की गू्ंज सुनाई देती है और हर तरफ शोर होता है। दिवाली के पहले से शुरू होकर सप्ताह भर बाद तक पटाखों का दौर चलता है। लेकिन यह ध्वनि प्रदूषण है, जो आपके कान की संवेदनशीलता को तो प्रभावित करता ही है, साथ ही लगातार यह शोर आपको चिड़चिड़ा और मानसिक रोगी भी बना सकता है। यह सिरदर्द का कारण भी बनता है।
6 वायु प्रदूषण - साफ-सफाई और धुंए के कारण इन दिनों वायु प्रदूषण भी अपने चरम पर होता है, जो आपके स्वास्थ्य को सीधे प्रभावित करता है। आप अगर फेफड़ों या सांस संबंधी रोग के मरीज हैं, तो धूलकणों का संपर्क व पटाखों से होने वाला धुंआ आपके लिए बहुत ही घातक होता है। कोशिश करें कि इसे कम करने में आपकी सहभागिता हो। हर कोई अगर यह सोच लेकर चलेगा, तो वायु प्रदूषण में भी कमी आएगी।
7 बच्चों का रखें ख्याल - त्योहारी
मौसम में बच्चों का विशेष ख्याल रखने की जरूरत होती है। फिर चाहे वह पटाखे
या फुलझड़ी जलाते वक्त हो या खाने पीने के मामले में। कई बार इस समय आप
काम में ज्यादा व्यस्त होते हैं और बच्चों पर उतना ध्यान नहीं दे पाते। ऐसे
में उनकी सेहत प्रभावित हो सकती है। ध्यान रखें की घर के काम के प्रति आपकी जितनी जिम्मेदारी उतनी ही बच्चों के प्रति भी है।
8 सुरक्षा - दीपावली
जैसा त्योहार हो, और सुरक्षा की बात न की जाए, ऐसा कभी नहीं हो सकता।
दीपावली पर जलाए जाने वाले पटाखे, फुलझड़ियों आपके त्योहार को जितना
संवारते हैं, जरा सी अनदेखी से बिगाड़ भी सकते हैं। इसलिए इनका प्रयोग करते
समय विशेष तौर पर सावधानी रखना है, यह बिल्कुल न भूलिएगा। इस समय दीपक
जलाने में भी सावधानी रखें। ऐसे कपड़े न पहनें जो जल्दी पकड़ते हों। इस तरह
से आप अनहोनी की किसी भी आशंका से बचे रहते हैं।
9 सौंदर्य के प्रति - काम
की व्यस्तता में अपने सौंदर्य का ध्यान रखना न भूलें। इस समय की लापरवाही
आपकी त्वचा को नुकसान पहुचा सकती है, क्योंकि यह साफ-सफाई का समय होता है।
समय-समय पर त्वचा की सफाई, स्क्रबिंग और बालों का ध्यान रखें, ताकि त्योहार
पर आप सही मायने में खूबसूरत दिखाई दें। समय निकालकर घर पर ही मसाज एवं
फेसपैक का प्रयोग कर, दीपावली की रात, चेहरे को जगमगाने की तैयारी करें।
10 रंगों से सावधान - दीपावली
और रंगोली का साथ, इस त्योहार की सुंदरता को बढ़ा देता है। आजकल रंगोली
में रसायनों का भी प्रयोग किया जाने लगा है। जिससे रंगोली का रंग बरकरार
रहता है, और आसानी से उड़ता नहीं। लेकिन अगर हाथ से रंगोली बना रहे हैं, तो
हाथ की त्वचा पर इन रसायनों का नकारात्मक असर पड़ सकता है। इससे सावधानी
रखें।
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